जहा भारत में धामी के बनाए कानूनों की हो रही खूब चर्चा तो… उत्तराखंड में अवैध अतिक्रमण पर चल रहा धामी बुलडोजर…. अब तक.. अवैध 475 मज़ार का नामोनिशान मिटा दिया

जहा भारत  में धामी  के बनाए कानूनों की हो रही खूब चर्चा तो… उत्तराखंड में अवैध अतिक्रमण पर चल रहा धामी बुलडोजर…. अब तक.. अवैध 475 मज़ार  का नामोनिशान मिटा दिया  

उत्तराखंड  मे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का  लैंड जिहाद पर प्रहार जारी है…. जिसकी चर्चा अब पूरे भारत में होने लगी है …

 साथ ही धामी द्वारा अब तक बनाए गए कानून.. को लेकर…  धामी का आभार जताया जा रहा है..  उन्हें धन्यवाद कहा जा रहा है….  और देश मे उनके द्वारा  बनाए  जा रहे कानूनों की खूब चर्चा है…

 

 और इस समय लगभग..  पिछले 60  दिनों से  धामी का बुलडोजर गरजता हुआ दिखाई दे रहा है 

 

आपको बता दे कि उत्तराखंड मे अब तक पिछले  52  दिनों मे   2115 एकड़ से अधिक वन भूमि   को अतिक्रमण से  धामी ने मुक्त  कराया   हैं.

 

450 से अधिक अवैध मजारो का नामोनिशान मिटा दिया गया है..

वही सीएम धामी के निर्देश पर चिन्हित 23 नदियाँ के किनारे  वन भूमि से भी अवैध  अतिक्रमण तेजी से हटाया जा रहा है..

और पिछले  दो दिनों में 107 एकड़ से भी अधिक वन भूमि को अवैध अतिक्रमण से मुक्त किया गया… 

 

 मतलब साफ है  अवैध अतिक्रमण पर धामी का बुलडोजर अटैक जारी है….

 

मुख्यमंत्री धामी के निर्देश पर  नदियों के किनारे वन भूमि / सरकारी भूमि से अतिक्रमण  हटाया जा रहा है.  कोसी नदी के किनारे से अवैध रूप से अतिक्रमण किये गये दुकान , मकान , अन्य अवैध निर्माण को हटाया गया  और दो दिनों में 107 एकड़ वन भूमि को अवैध अतिक्रमण से मुक्त किया गया है  तो गौला नदी के किनारे खनन क्षेत्रों में वन कर्मियों द्वारा लोगों का सत्यापन किया जा रहा है 

और पिछले  52दिनों में उत्तराखंड में  2115 एकड़  से अधिक वन भूमि को अवैध अतिक्रमण से मुक्त किया गया है ।

तो वन भूमि से  अब तक 450 से अधिक  मज़ारों को हटाया  जा चुका  है..

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी… साफ तौर पर कह चुके हैं कि देवभूमि का स्वरूप वे किसी भी हाल में नहीं बदलने देंगे…..

 और अवैध अतिक्रमण…. चाहे वह कोई भी हो….  जब तक पूरा अवैध अतिक्रमण नहीं हटाया जायेगा..  तब तक यह कार्यवाही जारी रहेगी..

 

यह भी पढ़ें -  रणनीति के बजाय "रन नीति" पर अमल कर रही है कांग्रेस: भट्ट

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here