●अनजान भय से भयभीत कांग्रेस स्वयं ही भाजपा को उकसा रही●
तथाकथित तौर पर तैर रही चर्चाओं में बताया जा रहा है कि कांग्रेस हाई कमांड ने उत्तराखंड और पंजाब में 10 मार्च को निर्वाचित होने वाले विधायकों को बिकने से रोकने के लिए कांग्रेस शासित राजस्थान और छत्तीसगढ़ में इंतज़ामात करने शुरू कर दिए हैं।
अव्वल तो कांग्रेस का यह अनजान भय और इस हेतु अभी से तैयारी शुरू करना इस बड़े राजनैतिक दल के दिवालियेपन का सुबूत है। देश की सबसे पुराने राजनीतिक दल के निशान से निर्वाचित होने वाले नेताओं के प्रति बिकने की धारणा बनना लोकतांत्रिक मूल्यों के लिए भी कोई सकारात्मक संकेत नहीं है।
खैर, फ़िलवक्त जबकि अभी परिणाम आने में कुछ दिन शेष हों, अभी से कांग्रेस द्वारा तथाकथित तौर पर सार्वजनिक रूप से अनजान भय का प्रदर्शन भाजपा को उस ‘राजनीतिक कदाचार’ के लिए अपरोक्ष रूप से उकसा रहा है, जिसके लिए भाजपा के चाणक्य माने जाने वाले अमित शाह जाने जाते हैं।
वहीं, यदि कांग्रेस के कार्यकर्ता अथवा नेता यदि बाज़ार में रखे सामान जैसी निकृष्ट स्थिति तक पंहुच चुके हैं तो ऐसे विधायकों को बिकने से रोकने के बाद यदि सरकार गठित भी कर दी जाए तो क्या ऐसे जनप्रतिनिधि सरकार में रह कर राजधर्म का पालन करने के ज़ज़्बे पर खरा उतर पाएंगे..?
पत्रकार लेखक अजय रावत की फेसबूक वॉल से